हर चुभन हर टीस पर,
किसी की दी हर खीझ पर,
किसी के दिए व्यंग्य पर,
किसी के पढ़े छंद पर,
लिखने का मन करता है...
किसी नेता के वादे पर,
उनकी कार्यवाही के इरादे पर,
भ्रष्टाचार विरोधी कमेटी की
अंत हीन कारगुजारियों पे,
लिखने का मन करता है..
पतली उँगलियों के बीच फंसी सिगरेट पर,
लड़की शिशुओं के कचरे में मिलने पर,
अन्ना हजारे के इरादे पर,
लिखने का मन करता है..
किसी के दिए व्यंग्य पर,
किसी के पढ़े छंद पर,
लिखने का मन करता है...
किसी नेता के वादे पर,
उनकी कार्यवाही के इरादे पर,
भ्रष्टाचार विरोधी कमेटी की
अंत हीन कारगुजारियों पे,
लिखने का मन करता है..
किसी गटर के खुले ढक्कन पर,
सुलभ शौचालय की दुर्लभता पर,
नल के खाली होने पर..
बोतल में पानी मिलने पर,
लिखने का मन करता है,पतली उँगलियों के बीच फंसी सिगरेट पर,
लड़की शिशुओं के कचरे में मिलने पर,
अन्ना हजारे के इरादे पर,
लिखने का मन करता है..
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